जिला बांदा के सबसे पिछड़े क्षेत्र कहे जाने वाले नरैनी ब्लॉक के सढा़ ग्राम पंचायत के अंतर्गत आने वाले छोटे से मजरा छतफरा के रहने वाले मामूली किसान के बेटे विनय कुमार ने एक ऐसी तकनीक तैयार की है, जो देखते ही बनती है| विनय का यह कोई पहला काम नहीं है| इससे पहले भी विनय ने और भी चीजें बनाई है।
जैसे कि पहले शुरुआती दौर में उसने किसानों का आनाज छानने के लिए एक छन्ना बनाया था ताकि किसानों का समय बच सके। एक व्यक्ति बस डालने का काम करे, पकड़ने की जरूरत ना पड़ेगी। इसके बाद उसने कोरोना काल में सेना टाइमज मशीन बनाई थी। जिसमें बटल लगाने के बाद उसको पहन लो और अपना काम करते रहो। हाथ सेनाटाइज अपने आप होते रहेंगे।अभी हाल में ही उसने किसानों के लिए एक जाल बनाया है। जो महुआ के पेड़ में बांध दिया जाता है और महुआ उस जाल से सीधे आके बर्तन में गिरता है।
जबकि महुआ बीनने के लिए लोग बहुत ज्यादा परेशान होते रहते हैं। सुबह 4:00 बजे से जाकर दोपहर एक-एक महुआ बीनते हैं। लेकिन इस जाल के जरिए उसने यह कर दिखाया कि खुद लोगों को महुआ के पेड़ के नीचे जाकर महुआ बीनने की जरूरत नहीं पड़ेगी। न ही जिस तरह से पेड़ों के नीचे महुआ बर्बाद होता था। अगर लोग समय ना मिलने के कारण बीन नहीं पाते थे तो उसको जानवर खा जाते थे और किसानों का नुकसान होता था। लेकिन अब वह भी बचेगा।