खबर लहरिया ताजा खबरें बाँदा: नाबालिक लड़की के साथ हुआ गलत काम, क्या परिवार को मिलेगा इंसाफ?

बाँदा: नाबालिक लड़की के साथ हुआ गलत काम, क्या परिवार को मिलेगा इंसाफ?

25 जुलाई को बाँदा जिले के एक गाँव में लड़की के साथ हुए बलात्कार का मामला सामने आया है। पीड़ित लड़की ने बताया कि वह शाम को 6 बजे के करीब शौच के लिए जा रही थी। उसे अकेला पाकर दो व्यक्तियों ने उसे पीछे से पकड़ लिया। उसे किसी सुनसान जगह पर ले जाया गया और उसके साथ ज़बरदस्ती बलात्कार किया। बात करने पर उसने बताया कि बाराती लाल नाम के लड़के ने उसके साथ बलात्कार किया था। वहीं राजकुमार नाम का लड़का, जो की पीड़िता के मोहल्ले का ही था, वह वीडियो बना रहा था। बाद में, उसने वह वीडियो और लोगों के मोबाइल फ़ोन पर भी भेजा।
कैसे न कैसे करके पीड़िता खुद को बचाकर अपने घर पहुंचती है। कुछ दिनों तक वह अपने परिवार से उसके साथ जो भी हुआ वह बता नहीं पाती। हिम्मत जुटाकर वह एक हफ़्ते बाद यानी 1 अगस्त 2020 को अपने साथ हुई सारी घटना अपने परिवार को बताती है। यह सब सुनने के बाद परिवार 5 अगस्त 2020 को जसपुरा थाने में दोनों बलात्कारियों के ख़िलाफ़ रिपोर्ट दर्ज करवाता है। परिवार और पीड़िता की मांग है कि दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्यवाही की जाए और उन्हें सख़्त सज़ा मिले। 
जसपुरा थाना के अध्यक्ष अर्जुन सिंह मामले को दबाने की कोशिश करते हैं। पीड़िता के परिवार को रिपोर्ट वापस लेने के लिए मज़बूर किया जाता है। जब जसपुरा थाने में परिवार की बात नहीं सुनी गयी तो वह बाँदा के एसपी के पास अपनी शिकायत लेकर पहुंचते हैं। कि शायद यहां उन्हें इन्साफ मिल जाए। लेकिन यहां भी उन्हें निराशा ही हाथ लगी। कई दिनों तक थाने के चक्कर लगाने के बाद कुछ अधिकारीयों द्वारा उन्हें विश्वास दिलाया गया कि उनकी शिकायत पर गौर किया जायेगा। दोषियों को सज़ा दी जाएगी। 
 
जसपुरा थाना के अध्यक्ष अर्जुन सिंह ने बताया कि दोषियों के खिलाफ 376 बी पास्को के तहत मुकदमा दर्ज़ कर दिया गया। उन्हें इसके साथ ही जेल भी भेज दिया गया। लेकिन सवाल अब भी है, पहले तो थाना अधिकारियों द्वारा मामले को नज़रअंदाज़ करने की कोशिश जा रही थी। फिर अब दबाव की वजह से दोषियों को जेल के अंदर तो कर दिया गया। लेकिन क्या, उन्हें उनके द्वारा किये गए कामों की सज़ा मिलेगी?
नेशनल क्राइम रिकॉर्ड ब्यूरो  2020 के आंकड़ों के अनुसार यूपी में हर दिन 11 बलात्कार होते हैं। वहीं 2016 से 2019 के बीच बलात्कार के मामलों में 20 प्रतिशत की वृद्धि हुई है। ये आंकड़े यह बात ज़ाहिर करते हैं कि देश में बलात्कार होना कितनी आम समस्या हो गयी है। जो की वक़्त के साथ हर दिन बढ़ती ही जा रही है। कई मामलें तो ऐसे भी है जो सामने ही नहीं आ पाते। गाँवों, छोटे कस्बों में तो आये दिन औरतों, लड़कियों और बच्चियों के साथ बलात्कार होते हैं। लेकिन उन मामलों को वहां उठाने वाला कोई नहीं, इसलिए उन्हें आराम से दबा दिया जाता है।  
क्या ऐसे ही देश के बेटियां सुरक्षित रहेंगी? आगे बढ़ेगी ? सरकार चुनावो  के वक़्त  सिर्फ औरतों को मुद्दा बनाती है और वोटों को अपनी जेब में भर्ती है। इसके आलावा रोज़ औरतों के साथ हो रहे बलात्कार से उन्हें कोई फर्क पड़ता दिखाई नहीं देता। आखिर सरकार कब जवाबदेही बनेगी